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30 की उम्र के बाद शादी करने के हैं कुछ नुकसान, जानकर आप भी मचाएंगे जल्दी

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नई दिल्ली : 30 की उम्र के बाद शादी करने के कुछ संभावित नुकसान हो सकते हैं जो व्यक्ति के जीवन, सामाजिक स्थिति और व्यक्तिगत प्राथमिकताओं पर निर्भर करते हैं। आइए जानते हैं 30 की उम्र के बाद शादी करने के नुकसान क्या हो सकते हैं।

आज के दौर में कपल शादी को प्राथमिकता नहीं देते हैं। युवा शादी से पहले अपने सपनों को पूरा करना चाहते हैं, आत्मनिर्भर बनना चाहते हैं। पढ़ाई और करियर में अचीवमेंट हासिल करने के लिए उन्हें वक्त चाहिए होता है। इस कारण निजी जीवन में आगे बढ़ने यानी शादी के बंधन में बंधने में उन्हें वक्त लग सकता है।
भारत जैसे देश में, जहां परिवार वाले 23-24 की आयु में अपने बेटे या बेटी की शादी कर दिया करते थे, वहीं अब 30 की आयु होने तक महिलाएं और पुरुष दोनों ही शादी के रिश्ते में नहीं आना चाहते हैं।

आधुनिक युग में महिलाएं और पुरुष दोनों ही देर से शादी करना पसंद करते हैं और 30 की आयु के बाद ही शादी करना चाहते हैं। हालांकि 30 की उम्र के बाद शादी करने के कुछ संभावित नुकसान हो सकते हैं जो व्यक्ति के जीवन, सामाजिक स्थिति और व्यक्तिगत प्राथमिकताओं पर निर्भर करते हैं। आइए जानते हैं 30 की उम्र के बाद शादी करने के नुकसान क्या हो सकते हैं।

गर्भधारण में समस्या

महिलाओं के लिए 30 के बाद प्रजनन क्षमता धीरे-धीरे कम होने लगती है। 35 के बाद गर्भधारण में कठिनाई और जटिलताओं की संभावना बढ़ सकती है। उम्र के साथ अंडाणुओं की गुणवत्ता कम होती जाती है, जिससे गर्भावस्था में दिक्कत आ सकती है। पुरुषों के लिए भी उम्र के साथ स्पर्म की गुणवत्ता प्रभावित हो सकती है, जिससे गर्भधारण में देरी हो सकती है। बढ़ती उम्र में स्वास्थ्य समस्याएं भी बढ़ती हैं जो स्वस्थ शादीशुदा जीवन को आगे बढ़ाने में मुश्किल पैदा कर सकती हैं।

सामाजिक दबाव और अपेक्षाएं

30 के बाद परिवार और समाज से शादी को लेकर अधिक दबाव पड़ सकता है, जिससे मानसिक तनाव बढ़ सकता है। कभी-कभी परिवार और रिश्तेदारों की उम्मीदों के कारण जल्दबाजी में निर्णय लेने का खतरा रहता है। शादी के बाद ही कपल पर परिवार को आगे बढ़ाने और बच्चों की उम्मीद की जाने लगती है, इसका दबाव भी वह झेलते हैं। परिवार और पार्टनर दोनों की अपेक्षाओं का बोझ भी मानसिक तौर पर दबाव डालता है।

कम उम्र के बच्चों की परवरिश

अगर शादी के बाद बच्चे देर से होते हैं, तो बच्चों के बड़े होने तक माता-पिता की उम्र अधिक हो जाती है। इससे बच्चों की परवरिश और भविष्य की योजना में चुनौतियां आ सकती हैं। माता-पिता और बच्चों के बीच पीढ़ी का अंतर अधिक होने से आपसी समझ और जुड़ाव में कठिनाई हो सकती है।

आर्थिक दबाव और भविष्य की योजना

30 के बाद करियर और आर्थिक जिम्मेदारियां अधिक होती हैं, जिससे शादी के बाद नई जिम्मेदारियों को निभाना चुनौतीपूर्ण हो सकता है। शादी के बाद जीवन में वित्तीय योजनाओं में बदलाव की आवश्यकता हो सकती है। बड़ी उम्र में शादी होने के बाद कपल के पास एक दूसरे के साथ वक्त बिताने से अधिक परिवार को संभालने की जिम्मेदारी अधिक होती है।

संबंधों में समायोजन की कठिनाई

30 की उम्र तक व्यक्ति की सोच, आदतें और जीवनशैली काफी स्थिर हो जाती है, जिससे किसी नए व्यक्ति के साथ सामंजस्य बैठाने में कठिनाई हो सकती है। दोनों पक्षों की स्वतंत्रता की आदतों के कारण विवाह में समझौते करना मुश्किल हो सकता है। बड़ी उम्र के लोगों के लिए एक दूसरे की जीवनशैली और पसंद में ढलने और एडजस्ट करने में दिक्कत आ सकती है।